Pandit Daulatram Kasliwal
पंडित दौलतरामजी कासलीवाल
पंडित दौलतराम जी कासलीवाल का जन्म विक्रम संवत 1745 में बसवा ग्राम में हुआ था। इनके पिता का नाम आनंदराम था। इनकी जाति खंडेलवाल और गोत्र कासलीवाल था। जयपुर के महाराज से इनका विशेष परिचय रहा। वे उदयपुर राज्य में जयपुर के वकील बन कर गए और वहां 30 वर्षों तक रहे। पंडित दौलतराम जी कासलीवाल संस्कृत के अच्छे ज्ञाता थे। पंडित टोडरमल जी और पंडित रायमल जी आदि प्रतिष्ठित विद्वान पंडित दौलतराम जी के समकालीन थे। इन्होंने अनेक रचनाएं लिखी हैं।
1. पुण्याश्रव वचनिका
2. क्रिया कोष भाषा
3. पुराण वचनिका
4. हरिवंश पुराण
5. परमात्मप्रकाश वचनिका
6. श्रीपाल चरित
7. अध्यात्म बाराखडी
8. वसुनंदी श्रावकाचार
9. पदम पुराण वचननिका
10. विवेक विलास
11. तत्वार्थ सूत्र भाषा
12. चौबीस दंडक
13. सिद्ध पूजा
14. आत्म बत्तीसी
15. सार समुच्चय
16. जीवन्धर चरित्र
17. पुरुषार्थ सिद्धि उपाय